राज्य सरकार का दावा
देहरादून: स्मार्ट सिटी की दौड़ में तीन बार मामूली अंतर से पिछड़ चुके देहरादून के लिए इस बार स्मार्ट सिटी के तमगे की उम्मीदें बेहतर लग रही हैं। शहरी विकास विभाग और राज्य सरकार का दावा है कि इस बार हर हाल में दून को स्मार्ट सिटी में शामिल कर लिया जाएगा।
बताया जा रहा है कि प्रधानमंत्री कार्यालय से भी इस मामले में सकारात्मक संकेत मिले हैं। परियोजना में किसी प्रकार की कमी न रहे और राज्य सरकार की ओर मजबूती से अपना पक्ष रखने के लिए अधिकारियों की एक टीम जल्द दिल्ली रवाना होगी।
देहरादून यूं तो देश-विदेश के लोगों के लिए एक खास पर्यटन स्थल है, लेकिन बीते कुछ वर्षों में शहर की स्थिति में आई गिरावट से बाहर निकलने की मशक्कत शहरी विभाग कर रहा है। केंद्र सरकार की स्मार्ट सिटी परियोजना ऐसे शहरों को नया रूप और सुविधाएं दे रही है, लेकिन इस मामले में दून लगातार पिछड़ता रहा है। तीन बार मामूली अंकों से पिछडऩे के बाद देहरादून ने एक बार फिर स्मार्ट सिटी के लिए प्रस्ताव भेजा है। इस बार राज्य सरकार और शहरी विकास विभाग ने पूरी ताकत झोंक रखी है। सरकार और विभाग की मानें तो इस बार दून को स्मार्ट सिटी के तमगे से नवाज दिया जाएगा।
पहले तीन प्रस्तावों की बात करें तो शहरी विकास विभाग ने पहली बार ग्र्रीन फील्ड में नया शहर बसाने का प्रस्ताव भेजा। इसमें चाय बागान में शहर बसाने की तैयारी थी। इस प्रस्ताव में दून टॉप-20 में स्थान बनाना तो दूर, बल्कि 98 शहरों में सबसे आखिरी पायदान पर रुका। इसके बाद दूसरी बार भेजे गए प्रस्ताव में दून में स्मार्ट पोल (एक ही पोल में स्ट्रीट लाइट, मोबाइल टावर, वाईफाई हब, सीसीटीवी कैमरे आदि), ग्रीन ट्रांसपोर्ट, पैदल जोन, वाटर, एटीएम जैसी सुविधाओं को विकसित किए जाने को शामिल करते हुए 4300 एकड़ क्षेत्रफल में रेट्रोफिटिंग को शामिल किया गया।
फास्ट ट्रैक प्रतियोगिता में 31 मई 2016 के परिणाम में दून को क्षेत्रफल बड़ा होने को आधार बनाते हुए फिर बाहर का रास्ता दिखा दिया गया। केंद्र सरकार ने योजना का आकार घटाकर दोबारा प्रस्ताव भेजने को कहा। इस पर तीसरी बार योजना का आकार घटाकर 875 एकड़ किया गया। इसमें शहर के केंद्रीय हिस्सों में ये सुविधाएं विकसित करने का संशोधित प्रस्ताव 30 जून को भेजा गया। इसके लिए करीब एक माह का समय मिला था और इस बार बेहद कम अंतर से दून फिर दौड़ से बाहर हो गया।
अब चौथी बार भेजे गए प्रस्ताव में कई बदलाव किए गए हैं, इसमें देहरादून के 10 वार्ड शामिल करते हुए 875 एकड़ में स्मार्ट सिटी बनाने का प्रस्ताव भेजा गया है। साथ ही तीसरे प्रस्ताव में अधूरी रह गई तैयारियों को पूरा किया गया है। इसके लिए आइआइटी सरीखे संस्थानों से भी मदद ली गई। इसके साथ ही राज्य में नई सरकार सत्ता में आने के बाद सरकार के स्तर भी स्मार्ट सिटी में दून को शामिल करने के लिए पैरवी की जा रही है।
उधर, शहरी विकास सचिव राधिका झा का कहना है कि स्मार्ट सिटी को लेकर विभाग ने संशोधित प्रस्ताव भेजा है। इसके साथ ही स्मार्ट सिटी से संबंधित विभागों के अधिकारियों की एक टीम जल्द दिल्ली में परियोजना को लेकर अपना पक्ष रखेगी। इस बार दून को स्मार्ट सिटी में शामिल कर लिया जाएगा।
वहीं, शहरी विकास मंत्री मदन कौशिक का कहना है कि केंद्र सरकार के दिश-निर्देशों के अनुरूप प्रस्ताव भेजा गया है। इसके बावजूद अगर कुछ कमियां रह गई हैं तो उन्हें दूर करने और प्रस्ताव पर चर्चा के लिए राज्य के अधिकारियों की टीम जल्द दिल्ली जाएगी। इस बार हर हाल में दून को स्मार्ट सिटी में शामिल कराया जाएगा।