ड्रग केस में फंसे आर्यन खान की जमानत याचिका खारिज

मुंबई। बॉलीवुड अभिनेता शाहरुख खान के बेटे आर्यन खान की जमानत याचिका को किला कोर्ट ने खारिज कर दिया है। कोर्ट ने कहा है कि इस अदालत के समक्ष आवेदन विचारणीय नहीं है। इसलिए अंतरिम जमानत याचिका खारिज की जा रही है।
मुंबई की एस्प्लेनेड अदालत ने क्रूज जहाज पर हुई रेव पार्टी पर छापे के बाद ड्रग्स की जब्ती से संबंधित मामले में आर्यन खान, अरबाज खान और मुनमुन धमेचा की जमानत याचिका खारिज कर दी। कोर्ट ने कहा है कि इस अदालत के समक्ष आवेदन विचारणीय नहीं है। इसलिए अंतरिम जमानत याचिका खारिज की जा रही है।
सतीश मानशिंदे ने कोर्ट में दी 36ए को लेकर दलील
एनडीपीएस कानून की धारा 36ए जमानत देने के बारे में नहीं, बल्कि केस के बारे में बताती है। जमानत देने के लिए धारा 437 सीआरपीसी है, सिर्फ इसलिए कि 27ए पूरे मामले पर लागू होता है, वह आरोप मेरे मुवक्किल पर नहीं थोपा जा सकता।
सतीश मानशिंदे ने किया एनसीबी के वकील का विरोध
एनसीबी के वकील के विरोध में आर्यन खान के वकील सतीश मानशिंदे ने कहा, मैं साफ शब्दों में कहना चाहता हूं – मान लीजिए मेरे मुवक्किल पर लगे सारे सेक्शन नॉन बेलेबल हैं लेकिन मैं कहना चाहता हूं जिस कोर्ट में हम जिरह कर रहे है उस कोर्ट को अंतरिम जमानत का अधिकार है। उस अधिकार का इस्तेमाल हो।
मानशिंदे ने कहा, “सरकारी वकील लगातार रिया चक्रवर्ती के जजमेंट का आधार दे रहे हैं, लेकिन मैं कॉपी देकर सुप्रीम कोर्ट के जजमेंट 2010 का हवाला देना चाहूंगा कि सुप्रीम कोर्ट ने कहा है कि – विशेष अदालत अंतरिम जमानत दे सकती है।”
जमानत नहीं दिए जाने को लेकर एनसीबी के वकील की दलील
एएसजी सिंह ने आरोपियों को को जमानच नहीं दिए जाने की अपनी दलील में कहा कि जमानत मिलने के बाद आरोपी सबूतों और गवाहों के साथ छेड़छाड़ कर सकते हैं। इन आरोपियो के कनेक्शन काफी गहरे हैं, इनके बयान और निशानदेही पर एनसीबी ने ऑर्गनाइजर और ड्रग सुप्पलयर को पकड़ा है। इन आरोपियो का पकड़े गए अन्य लोगों से आमने सामने बिठाकर पूछताछ करना जरूरी है। इलसिये जमानत नहीं दी जानी चाहिए।
एनसीबी के वकील ने कहा कि व्हाट्स ऐप चैट के रूप में हमारे पास काफी पुख्ता सबूत मौजूद हैं, जिससे यह साबित होता है कि आरोपी इस साजिश में शामिल थे।
एनसीबी के वकील ने लगाया आरोपियों के पहले से ही ड्रग्स में लिप्त होने का आरोप
एएसजी सिंह ने अपने पक्ष में कहा कि व्हाट्सएप चैट और स्टेटमेंट (u/s 67 NDPS), (क्रूज टर्मिनल पर उनकी मौजूदगी) संयोग नहीं हो सकता। उनके बयानों से पता चलता है कि वे सभी क्रूज पर जाने से पहले मिले थे। कम्युनिकेशन से पता चलता है कि ये सभी आरोपी पहले भी ड्रग्स का इस्तेमाल करते रहे हैं। यह संयोग नहीं है।