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मुख्यमंत्री ने सेवा क्षेत्र नीति लागू करने के लिये कैबिनेट में प्रस्ताव प्रस्तुत करने के दिये निर्देश

मुख्यमंत्री ने प्रदेश को वेडिंग डेस्टिनेशन के रूप में पहचान दिलाने के लिये भी समेकित प्रयासों की जरूरत बताई इसके लिये विभिन्न स्थलों का चयन कर वहां अवस्थापना सुविधाओं के विकास पर ध्यान देने को कहा।

देहरादून। उत्तराखंड के मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी ने प्रदेश में सेवा क्षेत्र नीति लागू करने के लिये प्रस्ताव आगामी कैबिनेट में प्रस्तुत करने के निर्देश दिये हैं। साथ ही कार्यों में शीघ्रता एवं तेजी लाये जाने के लिये नीतिगत मामलों को छोडकर शेष विषयों पर विभागीय स्तर पर निर्णय लेकर कार्यों का त्वरित निस्तारण किये जाने के भी निर्देश दिये हैं।

बुधवार को सचिवालय में उत्तराखण्ड निवेश और आधारिक संरचना विकास बोर्ड (यू.आई.आई.डी.बी.) की दूसरी बोर्ड बैठक में मुख्यमंत्री ने यू.आई.आई.डी.बी. के अधीन संचालित होने वाली योजनाओं में तेजी लाये जाने के निर्देश देते हुए कहा कि बोर्ड के कार्य संचालन हेतु स्वीकृत पदों पर शीघ्र नियुक्ति प्रक्रिया प्रारम्भ की जाए। उन्होंने कहा कि पहले लोक महत्व एवं तात्कालिक योजनाओं पर ध्यान दिया जाए तथा उनके क्रियान्वयन पर फोकस किया जाए ताकि इसके अपेक्षित परिणाम सामने आ सके।

मुख्यमंत्री ने सचिव पर्यटन एवं नागरिक उड्डयन को जॉलीग्रांट-पंतनगर तथा नैनीसैनी में विमानों की नाइट लैंड़िग की संभावनाओं की कार्ययोजना तैयार करने तथा चारधाम की भांति मानसखण्ड मंदिर श्रृंखलाओं के सौन्दर्यीकरण की योजनाओं पर भी तेजी से कार्य करने को कहा। उन्होंने कहा कि मानसखण्ड मंदिर माला मिशन पूर्ण होने पर प्रदेश में वर्षभर पर्यटकों का बड़ी संख्या में आवागमन होगा।

मुख्यमंत्री ने प्रदेश को वेडिंग डेस्टिनेशन के रूप में पहचान दिलाने के लिये भी समेकित प्रयासों की जरूरत बताई इसके लिये विभिन्न स्थलों का चयन कर वहां अवस्थापना सुविधाओं के विकास पर ध्यान देने को कहा। इसके लिए वेडिंग प्लानरों, होटल समूहों से सहयोग लेकर इसके प्रचार प्रसार पर भी ध्यान देने पर बल दिया।

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मुख्यमंत्री ने वर्तमान आवासीय अवस्थापनाओं के दृष्टिगत चिन्ह्ति पुनर्विकास योजनाओं के प्रस्तावों, हरिद्वार ऋषिकेश गंगा कोरीडोर, शारदा कॉरीडोर, दो नयी टाउनशिप विकसित करने तथा कैंची धाम परियोजना के कार्यों में भी तेजी लाये जाने के निर्देश दिये। उन्होंने निर्देश दिये कि राज्य हित में जिन उद्देश्यों की पूर्ति के लिये यू.आई.आई.डी.बी. का गठन किया गया उसके परिणाम शीघ्र धरातल पर दिखाई दे इसके लिये प्रभावी कार्ययोजना के साथ कार्य किया जाय।

बैठक में सचिव नियोजन आर. मीनाक्षी सुन्दरम ने यू.आई.आई.डी.बी. की कार्ययोजना से संबंधित प्रस्तुतिकरण दिया। जबकि सचिव पर्यटन सचिव कुर्वे ने पर्यटन विकास से जुडी योजनाओं की जानकारी दी।

बैठक में वित्त मंत्री प्रेम चन्द अग्रवाल, उपाध्यक्ष अवस्थापना अनुश्रवण परिषद विश्वास डाबर, मुख्य सचिव राधा रतूड़ी, अपर मुख्य सचिव आनंद बर्द्धन, प्रमुख सचिव आर. के. सुधांशु, सचिव विनय शंकर पाण्डे सहित अन्य अधिकारी उपस्थित थे।

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