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देहरादून में होगा इस्कॉन भगवद् गीता पाठशाला का आयोजन

देहरादून। राजधानी दून में रविवार 8 अप्रैल को इस्कॉन भगवद् गीता पाठशाला का आयोजन बंजारावाला स्थित संजीवन विद्यापाठ में किया जायेगा। देहरादून में संचालित किये जा रहे इस कार्यक्रम का उदघाटन आईआईटी कानपुर के प्रोफेसर डॉ. लीला पुरुषोत्तम दास द्वारा किया जायेगा। डॉ. लीला पुरुषोत्तम दास द्वारा ही उक्त कार्यक्रम को समन्वित किया जाएगा। कार्यक्रम को सफल बनाने के लिए आईआईटी कानपुर स्नातकों के एक समूह द्वारा सहायता प्रदान की जा रही है।

ज्ञात हो कि इस्कॉन दुनियाभर में गुरुकुल स्कूलों के माध्यम से हजारों छात्रों को मूल्य आधारित शिक्षा प्रदान करने में महत्वपूर्ण भूमिका निभा रहा है। इस्कॉन के संस्थापक आचार्य स्वामी प्रभुपाद की शिक्षाओं से प्रेरित हैं। स्वामी प्रभुपाद ने इस्कॉन के तत्वावधान में विश्वभर में हरे कृष्ण आंदोलन की स्थापना की, जो कि आध्यात्मिक ज्ञान को बड़े पैमाने पर प्रसारित करने के लिए और सभी लोगों को आध्यात्मिक जीवन की तकनीक में शिक्षित करने के लिए कार्य करता रहा है। साथ ही जीवन में मूल्यों के असंतुलन को देखने तथा वास्तविक एकता प्राप्त करने के लिए प्रेरित करता है। इसका उद्देश्य विश्व में शांति स्थापित करना है। भक्तितंत्र गुरुकुल और इंटरनेशनल स्कूल (बीजीआईएस), वृंदावन की स्थापना 1 9 75 में की गई थी। जिसका उद्देश्य दुनिया के अच्छे नागरिकों को तैयार करना एवं उनके चरित्र व विवेक का विकास करना है। डॉ. लीला पुरुषोत्तम दास इस स्कूल के निदेशक भी हैं।

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भगवद गीता पाठशाला के मधुसूदन मुकुंद दास ने बताया कि देहरादून में भगवद् गीता पाठशाला, विद्यालय और महाविद्यालय के छात्रों और काम करने वाले पेशेवरों के बीच समग्र मूल्यों को प्रदान करने के लिए काम करेगी, जो कि भगवान कृष्ण की अनन्त शिक्षाओं के अनुसार एक ओर सभी के लिए जीवन का मार्ग बन जाएंगे। उन्होंने बताया कि उत्तराखंड प्रसिद्ध देवी-देवताओं की भूमि है और हम यहां इस शुभ सेवा को शुरू करने के लिए स्वयं को भाग्यशाली मानते हैं। देहरादून शहर के कई महान सज्जनों और महिलाओं के द्वारा भी इस अवसर पर सहयोग प्रदान किया जा रहा है। उन्होंने स्थानीय जनता से आहवान किया कि इस शुभ अवसर पर आपकी उपस्थिति हमें और साथ ही हमारे सभी शुभचिंतकों को प्रेरित करेगी कि वे प्रभु के इस आदेश व भगवत गीता ज्ञान को नगर की जनता को बढ़-चढ़कर प्रदान करें।

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